मार्कशीट संसोधन में बदलाव: मार्कशीट फर्जीवाड़े की जांच के लिए कमेटी बनाई, अब बिना OTP नहीं खुलेगी आईडी

जयपुर
राजस्थान स्टेट ओपन स्कूल की अंकतालिकाओं में संशोधन के नाम पर हुए फर्जीवाड़े की जांच के लिए सोमवार को शिक्षा विभाग ने कमेटी का गठन कर दिया। कमेटी इस पूरे मामले की जांच कर सरकार को रिपोर्ट सौंपेंगी। इसके बाद इस मामले पर आगे कार्रवाई होगी। इसके साथ ही स्टेट ओपन ने अब अंकतालिकाओं के संशोधन या किसी भी तरह से आईडी के इस्तेमाल को लेकर सख्ती लागू की है।

डीओआईटी से वार्ता के बाद अब यह तय हुआ है कि बिना ओटीपी के कोई आईडी नहीं खोली जा सकेगी। अब तक आईडी खोलने के लिए ओटीपी का सिस्टम लागू नहीं था। इस कारण कई कार्मिकों की आईडी दूसरे लोग भी खोल रहे थे। यहां कुछ संविदा कर्मी है जिनकी आईडी से भी अंकतालिकाओं में संशोधन किया गया, लेकिन उन्हें पता ही नहीं चला। ऐसे संविदाकर्मियों ने भी अधिकारियों को इसकी शिकायत की है।

गौरतलब है कि पिछले दिनों स्टेट ओपन ने बजाज नगर थाने में एफआईआर दर्ज कराई थी। जिसमें कहा गया था कि यहां कार्यरत संविदाकर्मी राकेश कुमार शर्मा ने वर्ष 2019-20 में दीपक की अंकतालिका में संशोधन कर शालिनी नाम से दूसरी अंकतालिका तैयार कर ली थी।

भास्कर ने 10 जुलाई को 3 साल में स्टूडेंट की डिटेल एडिट कर नए नाम से जारी की 50 से ज्यादा फर्जी मार्कशीट। ध्रुव को कोमल, पंकज को पारुल और फिरदौस को बना दिया रोहित शीर्षक से खबर प्रकाशित की थी।

अंकतालिकाओं की प्रिंटिंग शुरू, जल्दी शुरू होगा वितरण
फर्जीवाड़े के बाद 19 जून को जारी रिजल्ट की अंकतालिकाएं रोक दी थी। करीब 1 लाख विद्यार्थियों की अंकतालिकाएं अटक गईं थी। कमेटी का गठन होते ही इनकी प्रिंटिंग का काम प्रारंभ कर दिया। प्रिंटिंग स्टेट ओपन के कार्यालय में हो रही है। प्रिंटिंग के नोडल केंद्रों पर भिजवा देंगे।

बदलाव: अब अंकतालिकाओं पर क्यूआर कोड भी लगाया जा रहा है, ताकि उसको स्कैन करते ही पूरा ब्योरा मिल सके। इससे अगर अंकतालिका में बदलाव होगा तो इसका पता चल सकेगा।

Leave a Comment